नेपाल में दो विमान टकराने से बड़ा हादसा टल गया

काठमांडू/नई दिल्ली . नेपाल में एक बड़ा हादसा टल गया, जब एयर इंडिया और नेपाल एयरलाइंस का विमान बीच हवा में टकराने वाले थे, तभी विमान के चेतावनी सिस्टम से पायलटों को सूचना मिलने से आपदा टल गई. रविवार को अधिकारियों ने जानकारी दी. इस घटना के बाद नेपाल के नागरिक उड्डयन प्राधिकरण (सीएएएन) ने लापरवाही के लिए हवाई यातायात नियंत्रक विभाग के तीन कर्मचारियों को निलंबित कर दिया है.

सीएएएन के प्रवक्ता जगन्नाथ निरूला के मुताबिक, 24 मार्च की सुबह कुआलालंपुर से काठमांडू आ रहा नेपाल एयरलाइंस के एयरबस ए-320 विमान और नई दिल्ली से काठमांडू पहुंच रहे एयर इंडिया के विमान बीच हवा में भिड़ने वाले थे. एयर इंडिया का विमान 19 हजार फीट से नीचे उतर रहा था, जबकि नेपाल एयरलाइंस का विमान उसी स्थान पर 15 हजार फीट की ऊंचाई पर उड़ रहा था. रडार पर यह दिखा कि दो विमान आसपास हैं, तो नेपाल एयरलाइंस का विमान नीचे उतरकर सात हजार फीट की ऊंचाई पर आ गया.

नेपाल ने एयर इंडिया के पायलटों पर लगाया प्रतिबंध नेपाल के सीएएएन ने घटना की जांच के बाद एयर इंडिया के पायलट चालक दल पर प्रतिबंध लगा दिया है. इस बारे में सीएएनएन ने ट्वीट किया कि 24 मार्च की घटना के लिए त्रिभुवन अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के हवाई यातायात नियंत्रकों में तीन को निलंबित कर दिया है. साथ ही एयर इंडिया के पायलटों पर अनिश्चितकाल के लिए प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है. इस फैसले के बारे में डीजीसीए-इंडिया को पत्र लिखकर जानकारी दे दी गई है.

डीजीसीए ने नेपाल अधिकारियों से मांगा ब्योरा घटना पर नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने ब्योरा मांगा है. रविवार को डीजीसीए के अधिकारी ने कहा कि नेपाल से विवरण प्राप्त किया जा रहा है. वहीं एयर इंडिया ने घटना के बारे में डीजीसीए को एक रिपोर्ट सौंपी है. भारतीय पायलटों पर नेपाल के अधिकारियों का अधिकार क्षेत्र नहीं है.

कोच्चि में दुर्घटनाग्रस्त हुआ ध्रुव मार्क थ्री हेलीकॉप्टर

भारतीय तट रक्षक (आईसीजी) के एएलएच ध्रुव मार्क 3 हेलीकॉप्टर उड़ान भरने के दौरान दुर्घटनाग्रस्त हो गया. यह हादसा कोच्चि अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर मुख्य रनवे के पास हुआ. इसमें एक व्यक्ति घायल हो गया, लेकिन पायलट की सूझबूझ से तीन लोगों की जान बच गई. अधिकारियों ने कहा, यह घटना तब हुई जब हेलीकॉप्टर चालक प्रशिक्षण के लिए उड़ान भर रहा था. उस वक्त हेलीकॉप्टर में तीन लोग सवार थे. वहीं आईसीजी ने हादसे के कारणों के जांच के आदेश दिए हैं. एक बयान में कहा गया उड़ान के तुरंत बाद जब सीजी855 हेलीकॉप्टर हवा में था, तब उसका साइकलिक नियंत्रण (ऊंचाई पर सामने की उड़ान को नियंत्रित करने वाला उपकरण) काम नहीं कर रहा था. लेकिन पायलट ने उस पर नियंत्रण हासिल करने में सफल रहा.

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