छत्तीसगढ़

विश्व पर्यटन दिवस पर विशेष: इतिहास को बयां करता सिरपुर, शिशुपाल पर्वत बना पर्यटकों की ट्रैकिंग का नया पॉइंट

27 सितंबर को 42वां ‘विश्व पर्यटन दिवस’ मनाया जाएगा. वर्ष 2022 में विश्व पर्यटन दिवस की थीम ‘पर्यटन पर पुनर्विचार’ रखी गई है. विश्व पर्यटन दिवस मनाने की खासियत यह है कि पर्यटन दिवस के महत्व को समझाने और हर साल लोगों को विभिन्न तरीकों से जागरूक करने के लिए अलग-अलग थीम रखी जाती है, जिससे देश-विदेश के नागरिक पर्यटन से जुड़ने लगते हैं और वो दूसरे देश या जगह पर घूम-फिर कर रोमांचित होते हैं और अपनी खुशियों का इजहार करते हैं. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अगुवाई में पूरे छत्तीसगढ़ सहित महासमुंद जिले में भी पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए लगातार काम किया जा रहा है. मुख्यमंत्री के निर्देश पर प्रदेश के अलग-अलग जिलों में प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों पर्यटकों की सुविधा में विस्तार करने के लिए होटल्स और रिसॉर्ट लीज पर दिए जा रहे हैं. इसके साथ ही समय-समय पर पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए विशेष कार्यक्रम भी आयोजित किए जा रहे हैं

सिरपुर पहले से ही प्राकृतिक दृश्यों से भरपूर है. वृक्षारोपण के ज़रिए इसे और भी हरा-भरा किया जा रहा है. पर्यटकों के विश्राम सुविधा के लिए पाँच सुगंधित फूलों वाली सुंदर कौशिल्या उपवन वाटिकाएं तैयार हो गई है. इन उपवनों में प्रतिदिन रामचरितमानस का पाठ, भजन कीर्तन स्थानीय मंडलियों द्वारा किया जा रहा है. वृक्षारोपण में बेर, जामुन, पीपल, बरगद, नीम, करंज, आंवला आदि के पौधें शामिल किए गए है. ताकि ऐतिहासिक महत्व के साथ-साथ लोगों को जैव विविधता का ऐहसास भी हो. इस इलाके में राम वन गमन पथ में छह ग्राम पंचायतों को मुख्य केंद्र के रूप में विकसित किया जा रहा है. जिसमें अमलोर, लंहगऱ, पीढ़ी, गढ़सिवनी, जोबा व अछोला शामिल है. सड़क के दोनों किनारों पर फलदार, छायादार पौधें लगाए जा रहे है.

अंतर्राष्ट्रीय हेरिटेज के रूप में विकसित करने का प्लान

महासमुंद जिले में स्थित सिरपुर को राष्ट्रीय, अंतर्राष्ट्रीय हेरिटेज के रूप में विकसित करने और ज्यादा पहचान दिलाने के लिए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल कटिबद्ध हैं. इसके लिए लगातार निर्माण एवं विकास कार्य भी किए जा रहे हैं. सिरपुर लगभग 10 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में फैला हुआ है और यहां विस्तारित बौद्ध केंद्र स्थापित है. सिरपुर शिव, वैष्णव, बौद्ध धर्मों का प्रमुख केंद्र भी है. सिरपुर को डोंगरगढ़ और मैनपाट के टूरिज्म सर्किट से जोड़ने की पहल शुरू कर दी गई है. पर्यटन सर्किट से जुड़ जाने से इस ओर सैलानियों का ज्यादा रुझान बढ़ेगा.

aamaadmi.in

महासमुंद जिले के सरायपाली स्थित शिशुपाल पर्वत पर्यटकों की ट्रैकिंग का नया पॉइंट बन गया है. इसी पहाड़ के ऊपर राजा शिशुपाल का महल हुआ करता था. जब राजा को अंग्रेजों ने घेर लिया तब राजा ने अपने घोड़े की आंख पर पट्टी बांधकर पहाड़ से छलांग लगा दी थी. इसी कारण इस पहाड़ को शिशुपाल पर्वत और यहां के झरने को घोड़ाधार जलप्रपात कहा जाता है. ये राजधानी रायपुर से करीब 157 किमी की दूरी पर और सरायपाली से 30 किमी की दूरी पर स्थित है.

join whatsapp channel
aamaadmi.in अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरें

ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज अपडेट के लिए हमें फेसबुक पर लाइक करें या ट्विटर पर फॉलो करें. aamaadmi.in पर विस्तार से पढ़ें aamaadmi patrika की और अन्य ताजा-तरीन खबरें

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
क्या रावण सचमें बुरा था ? रतन टाटा की 7 अनमोल बातें: नव कन्या भोजन का क्या महत्व है भागवत गीता से सीखे जीवन के ये मूल मंत्र