
नई दिल्ली. देश में छोटे घातक ड्रोन के निर्माण को लेकर बड़ी सफलता मिली है. ऐसा हथियारयुक्त ड्रोन तैयार किया गया है, जो छोटी मिसाइल से हमला करके चंद पलों में ही दुश्मन के टैंक को ध्वस्त कर देगा.
इस ड्रोन का निर्माण सेना के मेक-2 प्रोजेक्ट के तहत एक निजी कंपनी ने किया है. हालांकि, हथियारयुक्त ड्रोन निर्माण में रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) भी जुटा है.
15-20 किमी दूर तक हमला करने में सक्षम सैन्य सूत्रों के अनुसार, छोटे आकार के इस ड्रोन को 10-12 किलोग्राम वजन तक की एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल से लैस किया जा सकता है. यह 15-20 किलोमीटर दूर तक जाकर मिसाइल हमला कर सकता है. शुरुआती परीक्षण में सफलता मिलने की पुष्टि खुद सेना के तत्कालीन उप प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल बीएस राजू ने की. उन्होंने पिछले दिनों संसद की एक समिति के समक्ष अपनी बात रखते हुए यह जानकारी साझा की थी.
500 ड्रोन खरीदे जाएंगे सैन्य सूत्रों ने कहा कि भविष्य की युद्ध की चुनौतियों से निपटने के लिए छोटे और मध्यम आकार के घातक ड्रोन को प्राथमिकता पर रखा गया है. इससे लागत कम होती है और मारक क्षमता बढ़ती है. पहले चरण में करीब 500 हथियारयुक्त ड्रोन खरीदे जा सकते हैं.
अमेरिका के प्रीडेटार जैसा सूत्रों ने बताया कि यह ड्रोन अमेरिका के प्रीडेटार आर्म्ड ड्रोन एमक्यू-9 की तर्ज पर तैयार किया गया है. प्रीडेटार आकार और क्षमता में बड़ा है. यह उसी के तर्ज पर छोटा ड्रोन है. इसका वजन 35 से 40 किलो के आसपास रहने की संभावना है. इस बीच रक्षा मंत्रालय तीनों सेनाओं के लिए 30 प्रीडेटार ड्रोन खरीदने की तैयारी में है. यह वही ड्रोन है, जिनका इस्तेमाल अमेरिका ने अल जवाहिरी का सफाया करने में किया.
ऐसे हमला करेगा
1. ड्रोन से जुटाई गई सूचना सीधे ग्राउंड स्टेशन को मिलेगी
2. ग्राउंड स्टेशन पर स्थित कंट्रोल रूम के जरिये लक्ष्य को चिह्नित कर कमांड देकर मिसाइल से हमला किया जाएगा
3. इसके बाद ड्रोन को वापस बुला लिया जाएगा