
जैसे-जैसे बिहार विधानसभा चुनाव 2025 नजदीक आ रहे हैं, प्रदेश की राजनीति में हलचल तेज़ होती जा रही है। इस बीच राष्ट्रीय जनता दल (RJD) ने भी अपनी रणनीति में बड़ा बदलाव करने के संकेत दिए हैं। पार्टी के नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव इस बार एक नहीं, बल्कि दो विधानसभा सीटों से चुनाव लड़ने की योजना बना रहे हैं।
फिलहाल तेजस्वी यादव राघोपुर सीट से विधायक हैं, लेकिन सूत्रों के अनुसार वे अब मधुबनी जिले की फुलपरास सीट से भी चुनाव मैदान में उतरने पर गंभीरता से विचार कर रहे हैं। यह कदम सिर्फ एक अतिरिक्त सीट से चुनाव लड़ने तक सीमित नहीं है, बल्कि इसके पीछे एक बड़ा राजनीतिक संदेश और रणनीति छिपी है।
फुलपरास सीट की अपनी ऐतिहासिक और राजनीतिक अहमियत है। स्वर्गीय कर्पूरी ठाकुर जैसे जननेता भी यहां से विधायक रह चुके हैं। यह इलाका मिथिलांचल क्षेत्र में आता है, जहां की अति पिछड़ा वर्ग (EBC) की आबादी बेहद प्रभावशाली मानी जाती है। आंकड़ों के मुताबिक, यह वर्ग बिहार की कुल जनसंख्या का करीब 36 प्रतिशत है।
राजद का मानना है कि तेजस्वी यादव का फुलपरास से चुनाव लड़ना EBC वर्ग और मिथिलांचल के वोटरों को सीधा संदेश देगा और पार्टी की उस क्षेत्र में पकड़ को और मजबूत करेगा।