नई दिल्ली। पीएम किसान सम्मान निधि को सरकार की तरफ से किसानों की आर्थिक स्थिति मजबूत करने के लिए शुरू किया गया था. इसे शुरू हुए तीन साल का समय हो गया है. इसके तहत पात्र किसानों को सालाना 6 हजार रुपये मिलते हैं. इस राशि को साल में तीन बार 2-2 हजार रुपये की किस्त में दिया जाता है. इसके तहत किसानों को 11वीं किस्त मिल चुकी है, अब किसान भाई 12वीं किस्त का इंतजार कर रहे हैं. 1 अगस्त से 30 नवंबर के बीच आने वाली यह किस्त जल्द ही किसानों के खाते में आ जाएगी.
eKYC कराने वाले किसानों को ही मिलेगी किस्त!
लेकिन इस किस्त के आने से पहले सरकार की तरफ से किसानों को बड़ी राहत दी गई है. दरअसल, इस बार पीएम किसान के ई-केवाईसी (e-KYC) और गांव-गांव हो रहे सत्यापन के कारण 12वीं किस्त में देरी हो रही है. उम्मीद की जा रही है कि इस बार सरकार की तरफ से केवल eKYC कराने वाले किसानों को ही 12वीं किस्त दी जाएगी. पीएम किसान की आधिकारिक वेबसाइट पर भी लिखा है कि पीएम किसान के रजिस्टर्ड किसानों के लिए eKYC कराना (eKYC is MANDATORY for PMKISAN Registered Farmers) जरूरी है.
eKYC को लेकर दी बड़ी राहत
इसके साथ ही पीएम किसान की वेबसाइट पर बताया गया कि OTP बेस्ड eKYC पीएम किसान पोर्टल पर उपलब्ध है. पीएम किसान पोर्टल (pmkisan.gov.in) पर पहले ई-केवाईसी कराने की अंतिम तिथि 31 अगस्त 2022 तय की गई थी. लेकिन अब इसके लिए तारीख की बाध्यता खत्म कर दी गई है. पीएम किसान की वेबसाइट पर लिखा है कि रजिस्टर्ड किसानों के लिए eKYC कराना जरूरी है. Biometric बेस्ड ई-केवाईसी के लिए नजदीकी CSC सेंटर से संपर्क करें.
घर बैठकर ऐसे करें ई-केवाईसी से जुड़ा काम
इसके अलावा आप घर बैठे भी ई-केवाईसी से जुड़ा जरूरी काम पूरा कर सकते हैं. इसके लिए आप सबसे पहले पीएम किसान पोर्टल (https://pmkisan.gov.in) की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं. इसके बाद एक स्क्रॉल करने पर आपको दांयी तरफ ‘फार्मर कार्नर’ पर सबसे पहले e-KYC दिखाई देगा. इस पर क्लिक करें. अब खुलने वाले वेब पेज पर अपना आधार नंबर दर्ज करें. यदि आप पहले से e-KYC करा चुके हैं तो इस पर यह मैसेज शो करेगा. यदि नहीं हुई है तो आगे बताई गई इंस्ट्रक्शन के अनुसार अपना e-KYC पूरा कर दें.
कब आएगी 12वीं किस्त
12वीं किस्त आने का समय अगस्त से नवंबर के बीच का है. पिछले साल इसी अवधि में अगस्त की शुरुआत में ही योजना से जुड़ी किस्त के 2000 रुपये आ गए थे. लेकिन इस बार ई-केवाईसी और सत्यापन के कारण किस्त में देरी हो रही है. बाढ़ और सूखे से जूझ रहे किसानों के लिए यह इंतजार भारी पड़ रहा है. दरअसल केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी योजना में किसी भी तरह का फर्जीवाड़ा रोकने के लिए सरकार ने ई-केवाईसी जरूरी कर दिया है.