लखनऊ, 21 जुलाई योगी आदित्यनाथ की सरकार में अब तक मंत्रियों के लिए विदेश जाना सख्त वर्जित रहा है, लेकिन अगले साल जनवरी में होने वाले ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट को देखते हुए मुख्यमंत्री ने ‘ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स’ (जीओएम) को विदेश दौरों पर भेजने का फैसला किया है. जनवरी 2023 में प्रस्तावित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (जीआईएस) से पहले मंत्रियों के इन दौरों का उद्देश्य उत्तर प्रदेश को एक निवेश केंद्र के रूप में वैश्विक रूप से विपणन करना होगा.
सरकार के एक प्रवक्ता के अनुसार, “सितंबर और नवंबर के बीच यूके, यूएस, कनाडा, यूएई, स्वीडन, सिंगापुर, नीदरलैंड, इजरायल, जापान, फ्रांस, जर्मनी, दक्षिण कोरिया, मॉरीशस, रूस और ऑस्ट्रेलिया में रोड शो होने की संभावना है.”
विपणन रणनीति के हिस्से के रूप में, मंत्री रोड शो करेंगे, निवेश के बारे में बातचीत करेंगे और वैश्विक उद्योग के नेताओं को निवेश के लिए आमंत्रित करेंगे.
जीओएम की टीम विदेशों में रह रहे यूपी मूल के लोगों से भी मुलाकात करेगी और राज्य के बदलाव के बारे में बात करेगी.
अब तक, एक कैबिनेट मंत्री की टीम में दो स्वतंत्र प्रभार वाले राज्यमंत्री और एक राज्यमंत्री हो सकते हैं.
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