नई दिल्ली। कर्मचारियों के हितों से लेकर उनके वर्क कल्चर में सुविधानुसार बदलाव होते रहे हैं. सरकार ने नए श्रम कानून (New Labour Law) को जल्द लागू करने की प्लानिंग की है और ऐसे में जल्द ही देश के करोड़ों कर्मचारियों को बड़ी खुशखबरी मिल सकती है. खास बात यह है कि नए श्रम कानून में कर्मचारियों को ज्यादा छुट्टियां भी मिल सकती हैं और उनके काम करने के घंटों में भी बड़ा बदलाव हो सकता है.
दरअसल, नए श्रम कानून को लेकर खास बात यह है कि केंद्र सरकार पूरे देश में एकसाथ इस नई व्यवस्था को लागू करना चाहती है. इस स्थिति में सभी राज्य इस व्यवस्था में एकसाथ एंट्री करेंगे. इससे लोगों की पर्सनल लाइफ और काम को एकसाथ बेहतर बनाने के लिए काम किया जा रहा है और जल्द ही उसे लागू किया जा सकता है.
3 दिन की मिलेगी छुट्टी
गौरतलब है कि नए श्रम कानून में 4 नए कोड होंगे जो कि लेबर कोड वेज (Wage), सोशल सिक्योरिटी (Social Security), इंडस्ट्रियल रिलेशंस (Industrial Relations) और ऑक्यूपेशनल सेफ्टी (Occupational Safety) से जुड़े हैं और इन सभी के लिए अलग-अलग तरह के नियम कानून होंगे. बड़ी बात यह है कि इन सभी कोड में 3 दिन की छुट्टी पर भी चर्चा की जाएगी यानी कि नौकरी करने वालों की हफ्ते में 3 दिन की होंगी.
ऐसे में यह माना जा रहा है कि नए कोड में 3 दिन की छुट्टी होगी और 4 दिन काम करना होगा. आपको बता दें काम करने के घंटों में इजाफा किया जाएगा. अभी अगर आप 9 घंटे काम करते हैं तो नई व्यवस्था में आपको 12 घंटे काम करना होगा. कुल मिलाकर आपको एक हफ्ते में 48 घंटे काम करना होगा और यह लोगों के लिए खुशखबरी होगा.
लंबी छुट्टी का मिलेगा फायदा
इसके साथ ही एक अहम बात यह है कि नए लेबर कोड के तहत आपको लंबी छुट्टी लेने के लिए किसी भी कंपनी में 180 दिन काम करना जरूरी होगा. वहीं अभी इसके लिए आपको 240 दिन काम करना जरूरी होता है. अगर आप किसी कंपनी में 6 महीने काम कर चुके हैं तो आप वहां पर लंबी छुट्टी के लिए अप्लाई कर सकते हैं. ऐसे में यह यूजर्स के लिए एक और बेहतरीन बात हो सकती है.
वेतन में बढ़ेगा पीएफ कॉन्ट्रिब्यूशन
केवल छुट्टी वर्किंग कल्चर और लंबी छुट्टी की बात ही नहीं बल्कि सैलरी को लेकर भी बड़े बहुत बदलाव हैं. इसमें पीएफ कॉन्ट्रिब्यूशन बढ़ाया जा सकता है और इससे कर्मचारियों के रिटायरमेंट पर उन्हें ज्यादा पैसा मिल सकेगा. इसके साथ ही यह भी दावा किया गया है कि सैलरी स्ट्रक्चर समेत इन हैंड सैलरी में भी बदलाव हो सकता है.