
प्रयागराज: Mahakumbh 2025 का आयोजन उत्तर प्रदेश के इलाहाबाद (प्रयागराज) में हो रहा है, और इस समय इस धार्मिक मेले में लाखों श्रद्धालु जुट रहे हैं। पहले चार दिनों में ही 7 करोड़ से भी ज्यादा श्रद्धालुओं ने त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगाई। पांचवे दिन भी श्रद्धालुओं का तांता जारी है, और संगम क्षेत्र में हर तरफ आस्था का माहौल है।
योगी आदित्यनाथ का आस्था पर जोर
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस विशाल जनसैलाब को सनातन धर्म के प्रति लोगों की गहरी आस्था का प्रतीक बताया है। गुरुवार को भी लाखों भक्तों ने संगम में स्नान किया और कई श्रद्धालु संतों के पंडालों में पहुंच कर आशीर्वाद लिया और धार्मिक कथाएं सुनीं।
विदेशी श्रद्धालुओं की भी भारी भागीदारी
महाकुंभ सिर्फ भारत के श्रद्धालुओं तक सीमित नहीं है, बल्कि दुनिया भर से लोग यहां आ रहे हैं। दक्षिण अफ्रीका के जोहान्सबर्ग से आए भक्ति नरसिम्हा स्वामी ने बताया कि उन्होंने वर्षों से महाकुंभ में शामिल होने का सपना देखा था, और अब इस साल उन्हें यह मौका मिला है। इसके अलावा, कई विदेशी श्रद्धालु भी इस अद्भुत धार्मिक आयोजन का हिस्सा बनने के लिए यहां पहुंच रहे हैं।
श्रद्धालुओं के लिए बेहतरीन व्यवस्थाएं
महाकुंभ में श्रद्धालुओं के लिए उत्कृष्ट व्यवस्था की गई है। सुरभि शोध संस्थान जैसे समाजसेवी संगठन श्रद्धालुओं को न सिर्फ खाना और नाश्ता उपलब्ध करवा रहे हैं, बल्कि उनकी सेवा भी कर रहे हैं। ये भंडारे श्रद्धालुओं के लिए राहत का कारण बने हैं, क्योंकि उन्हें शुद्ध और ताजे खाने के लिए कहीं बाहर नहीं जाना पड़ता।
मौनी अमावस्या के लिए विशेष तैयारियां (Mahakumbh 2025)
मौनी अमावस्या के दिन 29 जनवरी को महाकुंभ में लाखों श्रद्धालुओं के स्नान की संभावना है, और इसके लिए तैयारियां जोरों पर हैं। रेलवे ने भी इस दिन 6 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं को समायोजित करने के लिए विशेष इंतजाम किए हैं। इससे श्रद्धालुओं को यात्रा के दौरान किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।
महाकुंभ में इतनी बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं का आना और प्रशासन की ओर से की गई शानदार व्यवस्थाएं दर्शाती हैं कि यह धार्मिक आयोजन केवल भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया में अपनी एक खास पहचान बना चुका है।