सूडान से अबतक 798 भारतीयों की वापसी

विदेश सचिव विनय क्वात्रा ने बताया कि सूडान में सुरक्षा संबंधी जमीनी हालात बेहद अस्थिर और परिवर्तनशील बने हुए हैं और भारत का प्रयास वहां रह रहे अपने नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करना है. हम सूडान की स्थिति पर लगातार नजर बनाए हुए हैं.
फिलहाल 72 घंटे के लिए सीजफायर चल रहा है. इस बीच भारत ने अपने नागरिकों को सूडान से निकालने के लिए बड़े पैमाने पर कोशिश तेज की हैं. वह ऑपरेशन कावेरी चला रहा है. अबतक 798 भारतीय नागरिकों को सूडान से निकाला जा चुका है. भारतीय वायुसेना का एक C-130J मिलिट्री ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट गुरुवार को 128 भारतीयों को जेद्दा लेकर पहुंचा. वहीं, बीती रात एक कॉमर्शियल फ्लाइट के जरिए 360 नागरिक जेद्दा से राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली पहुंचे.
विदेश सचिव ने कहा कि भारत अपने नागरिकों की सुरक्षा के लिए सभी पक्षों के साथ संपर्क बनाए हुए हैं. उन्होंने कहा, हमारा अनुमान है कि करीब 3500 भारतीय नागरिक और करीब 1000 भारतीय मूल के लोग (पीओआई) वहां रह रहे हैं. क्वात्रा ने कहा कि जहां पर लड़ाई चल रही है, वहां स्थिति बहुत अस्थिर एवं परिवर्तनशील है. इसलिए यह कहना कठिन है कि सूडान में संघर्षरत दोनों पक्षों में से किसका दबदबा कौन से क्षेत्र में है. हालांकि हम अपने नागरिकों की सुरक्षा के लिए सभी के साथ संपर्क बनाए हुए हैं. करीब 1700 से 2000 नागरिक संघर्ष वाले क्षेत्र से बाहर आ गए हैं. उन्होंने कहा कि हिंसाग्रस्त सूडान से नागरिकों को निकालने के भारत के अभियान ऑपरेशन कावेरी के तहत करीब 670 भारतीय स्वदेश पहुंच गए या रास्ते में हैं. 360 भारतीय नागरिक बुधवार की रात को सऊदी अरब की उड़ान से भारत आए, जबकि भारतीय वायुसेना के सी17 विमान से 246 नागरिक महाराष्ट्र पहुंचे.
भारतीय बोले, लौटने की उम्मीद खो दी थी
भारतीयों ने कहा कि हमने तो लौटने की उम्मीद ही खो दी थी. उन्होंने सेना और केंद्र को धन्यवाद भी दिया. चेन्नई के लिए रवाना होने से पहले मडीपक्कम की दिव्या राजशेखरन ने कहा कि मेरे पास एक जोड़ी कपड़े और पासपोर्ट बचा है. वेल्लोर की सोफिया ने कहा, हम दही-चावल खाकर गुजारा कर रहे थे.