Chhattisgarh News: 600 महिलाओं को कार्यस्थल पर‎ पहुंचाया जा रहा सुपोषण टिफिन‎

बैकुंठपुर‎ एनिमिया मुक्त जिला बनाने के‎ उद्देश्य से खरीफ सीजन के दौरान आंगनबाड़ी केंद्र तक नहीं पहुंचने‎ वाली महिलाओं को कार्यकर्ता और सहायिका के द्वारा उनके कार्य क्षेत्र‎ तक पहुंचकर सप्ताह में पांच दिन‎ गर्म और सुपोषण टिफिन पहुंचाया‎ जा रहा है.

  जिलें में बीते 30 दिन में‎ 300 से अधिक महिलाओं को 16‎ हजार टिफिन एनिमिक महिलाओं‎ को पहुंचाया जा चुका है. बीते एक‎ महीने में एनिमिक महिलाओं के‎ स्वास्थ्य में सुधार भी देखने को‎ मिल रहा है.‎ जिले में कई कारणों से ग्रामीणों‎ क्षेत्रों में सबसे अधिक एनिमिया के‎ केस गर्भवती, शिशुमति और‎ युवतियों में पाए जाते हैं. डाक्टरों‎ का कहना है कि सही खान-पान‎ नहीं होने और कुछ गाइनिक‎ समस्या की वजह से महिलाओं में‎ एनिमिया की समस्या होती है.‎

  ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाएं अपने‎ खान-पान में पूरा ध्यान नहीं देती हैं,‎ जिससे सबसे ज्यादा केस यहीं‎ देखने को मिलते हैं, जिले को‎ एनिमिया मुक्त बनाने के संकल्प‎ को लेकर कलेक्टर कुलदीप शर्मा‎ की पहल पर उन महिलाओं को‎ उनके कार्य स्थल पर ही सुपोषण‎ टिफिन भेजने की पहल शुरू की‎ गई है, जिससे समय पर गर्म और‎ पौष्टिक आहार गर्भवती, शिशुमति‎ समेत अन्य एनिमिक महिलाओं को‎ मिल सके.

मुख्यमंत्री सुपोषण‎ अभियान के तहत जिले में विभिन्न‎ जिले में गर्भवती व शिशुवती‎ एनीमिक महिलाओं को चिह्नांकित‎ कर पास के आंगनबाड़ी केंद्रों में‎ सुपोषण टिफिन के रूप में गरम‎ भोजन दिया जा रहा है, इसके साथ‎ ही खेती-बाड़ी के सीजन में‎ आंगनबाड़ी केंद्रों तक नहीं पहुंचने‎ वाली महिलाओं को खेतों में जाकर‎ कार्यकर्ता और सहायिका सुपोषण‎ टिफिन पहुंचा रहे हैं. गंभीर रूप से‎ एनिमिक महिलाओं को सभी‎ महिलाओं को आयरन की टेबलेट‎ और जरूरत पड़ने पर आयरन‎ सुक्रोज का डोज देने के साथ‎ हीमोग्लोबिन की जांच भी कराई जा‎ रही है.‎

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